तुम्हारे हर राज की हमराज बन जाना चाहती हूँ ,

Wednesday, October 5, 2011 · Posted in


तुम्हारे हर राज की हमराज बन जाना चाहती हूँ ,
तुम्हारी आँखो के ख्याब बन जाना चाहती हूँ मै,
तुम्हारे कदमो की आहट बन जाना चाहती हूँ मै,
तुम्हारे दिल का हर अहसास हो जाना चाहती हूँ मै,
तुम्हारे मन का विश्वास  बन जाना चाहती हूँ...!